top of page

" मशाल बन जलता रहूँ "

  • Writer: Kishori Raman
    Kishori Raman
  • Jul 15, 2022
  • 1 min read

आज जो मंज़िल पाने की चाह में भीड़ के साथ चुपचाप हो जाते हैं अपने उसूलों से समझौता करनेवाले गुमनामी के अंधेरे में खो जाते हैं किसी भी देश का लोकतंत्र तो संघर्ष और कुर्बानी पर खड़ा होता है जब सींचते है लोग अपने पसीने से तभी ये मजबूत और बड़ा होता है जुनून और सच्चाई के बिना तो हमारा राष्ट्र प्रेम अधूरा होता है एकता के सूत्रमें जब बंधते हैं लोग राष्ट्रनिर्माण का सपना पूरा होता है अगर वतन को रखना है आजाद हम सबको भी आहूति देना होगा हमारी आनेवाली पीढ़ी रहे महफ़ूज इसके लिए हमे चिराग बनना होगा दुआ करें कि मुझे मंजिल न मिले वतन की राह मे यूँ ही चलता रहूँ अजर- अमर रहे ये देश हमारा मशाल बन यूँ ही मैं जलता रहूँ किशोरी रमण BE HAPPY....BE ACTIVE...BE FOCUSED...BE ALIVE If you enjoyed this post, please like , follow,share and comments. Please follow the blog on social media.link are on contact us page. www.merirachnaye.com




2 Comments


verma.vkv
verma.vkv
Jul 16, 2022

वाह, देशभक्ति पर सुंदर कविता।

Like

Unknown member
Jul 16, 2022

Very nice....

Like
Post: Blog2_Post

Subscribe Form

Thanks for submitting!

Contact:

+91 7903482571

  • Facebook
  • Twitter
  • LinkedIn

©2021 by मेरी रचनाये. Proudly created with Wix.com

bottom of page