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"आईना तो सच ही दिखाएगा"

  • Writer: Kishori Raman
    Kishori Raman
  • Oct 19, 2022
  • 1 min read

Updated: Dec 26, 2022


लोग निभाते नही हैं आज कल वरना इंसानियत से बड़ा रिश्ता नही होता जो वक़्त पर काम आये किसी के उससे बड़ा कोई फ़रिश्ता नही होता जिंदगी में सबको सब कुछ नही मिलता जब पतझड़ आते हैं तो फूल नही खिलता स्वार्थ पर टिके होते हैं अक्सर हमारे रिश्ते यहाँ जिस्म मिलता है पर दिल नही मिलता जो भी मिला है उसीमें खुश होना सिख लो औरों के पास क्या है इससे आँखे मीच लो कोई क्यों याद दिलाये हमे हमारे हदों की अच्छा है, खुद ही लक्षमण रेखा खींच लो न रक्खो कभी अपनो से कोई उम्मीद ये उम्मीदें ही अक्सर हमें रुलाती है जब खून के रिश्ते भी हो जाते हैं पराए तब हमारे ये रिश्ते ही हमे तड़पाती है कोई आईने को कितना भी डरायेगा आईना तो केवल सच ही दिखाएगा सच्चाई जिनकी फ़ितरत में होती है उस को यहाँ कौन रोक पायेगा किशोरी रमण BE HAPPY....BE ACTIVE...BE FOCUSED...BE ALIVE If you enjoyed this post, please like , follow,share and comments. Please follow the blog on social media.link are on contact us page. www.merirachnaye.com


3 kommentarer


sah47730
sah47730
25. okt. 2022

बहुत ही सारगर्भित और भावनाओं को निचोड़ने वाली कविता।

Synes godt om

verma.vkv
verma.vkv
20. okt. 2022

वाह, बहुत सुंदर कविता।

Synes godt om

Ukendt medlem
20. okt. 2022

Very nice...

Synes godt om
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